भोपाल। मंत्रि-परिषद द्वारा एमएसएमई विकास नीति-2021 के अनुक्रम में फर्नीचर, खिलौनों एवं उनसे संबंधित मूल्य श्रंखला के उत्पादों की विनिर्माण इकाइयों के लिये विशिष्ट वित्तीय सहायता प्रदाय करने का निर्णय लिया गया हैं। इसमें उद्योग विकास अनुदान, ब्याज अनुदान, विद्युत शुल्क में छूट, विद्युत टैरिफ में सहायता, स्टाम्प डयूटी एवं पंजीयन शुल्क की प्रतिपूर्ति, रोजगार सृजन अनुदान, निर्यात सहायता आदि प्रदान की जायेगी। प्रदेश के समावेशी विकास, रोजगार के अवसर निर्मित करने और उद्यमिता को प्रोत्साहित करने के लिए यह निर्णय लिया गया है। इसमें प्लांट, मशीनरी, भवन आदि स्थिर संपत्तियों पर उद्योग विकास अनुदान अधिकतम 40 प्रतिशत देय होगा। बैंक/वित्तीय संस्थाओं से लिए गए टर्म लोन पर 2 प्रतिशत की दर से 5 साल के लिए अधिकतम 1 करोड़ रूपए प्रतिवर्ष ब्याज अनुदान दिया जाएगा। सभी पात्र नवीन इकाइयों को उच्च दाब विद्युत संयोजन दिनांक से 5 साल के लिए 100 प्रतिशत विद्युत शुल्क में छूट दी जाएगी। उच्च दाब विद्युत उपभोक्ताओं को नवीन कनेक्शन पर कामर्शियल उत्पादन दिनांक से 5 साल के लिए 1 रूपए प्रति यूनिट की सहायता मिलेगी। भूमि/बैंक ऋण दस्तावेजों पर चुकाये गये पंजीयन शुल्क एवं स्टाम्प डयूटी पर 50 प्रतिशत प्रतिपूर्ति दी जाएगी। अधिकृत संस्थानों से अधिकतम 4 गुणवत्ता प्रमाण-पत्र प्राप्त करने पर 25 प्रतिशत लागत प्रतिपूर्ति अधिकतम 10 लाख रूपए तक दी जाएगी। इस तरह एक प्रमाण-पत्र पर अधिकतम ढाई लाख रूपए की सहायता दी जाएगी।
फर्नीचर एवं खिलौना विनिर्माण इकाइयों के लिये विशिष्ट वित्तीय सहायता
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